नई दिल्ली (हमारा वतन) हिंदू धर्म में कार्तिक महीने को सबसे पवित्र माना जाता है। इसका कारण यह भी है कि ज्यादातर प्रमुख त्योहार इसी महीने पड़ते हैं। दशहरे से लेकर दीवाली तक और भगवान विष्णु के निद्रा से जागने का मुहूर्त भी इसी महीने पड़ता है। ऐसे में इस महीने की खास मान्यता है।
साथ ही दिवाली से ठीक एक दिन पहले हनुमान जन्मोत्सव भी मनाया जाता है। दरअसल कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को हनुमान जी का जन्म हुआ था। इसी कारण दिवाली से ठीक एक दिन पहले भगवान हनुमान जी की पूजा की जाती है।
बल, बुद्धि और विद्या का मिलता है आर्शीवाद –बता दें कि हनुमान जन्मोत्सव के अवसर पर उनकी खास पूजा करने से याचकों को बल, बुद्धि और विद्या का आर्शीवाद मिलता है। शास्त्रों के अनुसार नरक चतुर्दशी के दिन हनुमान जन्मोत्सव मनाने से पापों का नाश होता है और याचक को सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है। इस बार हनुमान जन्मोत्सव रविवार 23 अक्टूबर की शाम से शुरू हो जाएगा। यह मुहूर्त को शाम 5 बजकर 4 मिनट से शुरू होकर अगले दिन यानी 24 अक्टूबर की शाम 5 बजे तक जारी रहेगा। इस दिन हनुमान की विशेष पूजा का महत्व है।
चैत्र भी मनाया जाता है जन्मोत्सव – ज्योतिष शास्त्र के अनुसार चेत्र के महीने में भगवान महावीर का जन्मउत्सव मनाया जाता है। लेकिन देश के कई हिस्सों में दिवाली के एक दिन पहले इसे मनाने की परंपरा है। हर साल की तरह इस बार भी नरक चर्तुदशी के दिन भगवान महावीर का जन्मदिन मनाया जाएगा।
हिंदू पंचांग के अनुसार इस साल हनुमान जन्मोत्सव सर्वार्थ सिद्धि योग और अमृत सिद्धि योग मनाने से पुण्य फल मिलेगा। इस दिन सर्वार्थ सिद्धि योग पूरा दिन रहेगा और अमृत योग दोपहर 02 बजकर 34 मिनट से अगले दिन सुबह 6 बजकर 27 मिनट तक चलता रहेगा। इस मुहूर्त में भगवान महावीर की उपासना से बल, बुद्धि और विद्या प्रदान होगी। माना जाता है कि नरक चर्तुदशी के दिन ही भगवान महावीर का जन्मदिन मनाया जाता है।
रिपोर्ट – राम गोपाल सैनी
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