जयपुर (हमारा वतन) अंतर्राष्ट्रीय भविष्यवक्ता पंडित रविन्द्राचार्य ने बताया कि पापमोचिनी एकादशी होलिका दहन और चैत्र नवरात्रि के मध्य में आती है। यह सम्वत साल की आखिरी एकादशी है और युगादी से पहले पड़ती है। उत्तर भारतीय पंचांग के अनुसार चैत्र मास के कृष्ण पक्ष के दौरान पड़ती है और दक्षिण भारतीय पंचांग के अनुसार फाल्गुन माह में कृष्ण पक्ष के दौरान पापमोचिनी एकादशी पड़ती है। हालांकि दोनों पंचांग में एकादशी तिथि एक ही पड़ती है। अंग्रेजी कैलेंडर में यह एकादशी मार्च या अप्रैल महीने में पड़ती है।
पापमोचिनी एकादशी 2023 कब है :-
हिंदू पंचांग के अनुसार, पापमोचिनी एकादशी चैत्र मास के कृ्ष्ण पक्ष की एकादशी को पड़ती है। इस साल यह तिथि 18 मार्च 2023, शनिवार को पड़ रही है।
पापमोचिनी एकादशी 2023 शुभ मुहूर्त :-
एकादशी तिथि प्रारंभ 17 मार्च दोपहर 02 बजकर 06 मिनट पर होगी और एकादशी तिथि का समापन 18 मार्च को सुबह 11 बजकर 13 मिनट पर होगा।
पापमोचिनी एकादशी के दिन बन रहे कई शुभ संयोग : –
इस साल पापमोचिनी एकादशी के दिन कई अद्भुत संयोग बन रहे हैं। इस दिन शिव योग, सर्वार्थ सिद्धि योग व द्विपुष्कर योग का अद्भुत संयोग बन रहा है। मान्यता है कि इन योग में किए गए कार्यों में जातक को सफलता हासिल होती है। धन व मान-सम्मान में वृद्धि होती है।
पापमोचिनी एकादशी व्रत पारण का समय : –
पापमोचिनी एकादशी व्रत पारण 19 मार्च को किया जाएगा। व्रत पारण का शुभ समय 19 मार्च को सुबह 06 बजकर 27 मिनट से सुबह 08 बजकर 07 मिनट तक है। पारण के दिन द्वादशी समाप्त होने का समय सुबह 08 बजकर 07 मिनट है।
रिपोर्ट – राम गोपाल सैनी
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